खबर का असर: आरोग्यम हॉस्पिटल में आयुष्मान योजना का रजिस्ट्रेशन समाप्त करने के बाद अब गायत्री हॉस्पिटल पर हो सकती है कार्रवाई
आयुष्मान कार्ड सुविधा होने के बावजूद नगदी में इलाज का मामला
दुर्ग। दुर्ग जिले में स्वस्थ विभाग की टीम ने शहर के गायत्री हॉस्पिटल, रेनबो हॉस्पिटल, भिलाई नगर्सिंग होम, स्पर्श हॉस्पिटल सहित कई अस्पतालों का औचक निरीक्षण किया। खामियां पाए जाने पर गायत्री हॉस्पिटल, रेनबो हॉस्पिटल को नोटिस थमाते हुए 2 दिन में जवाब मांगा गया है। इन अस्पतालों पर आयुष्मान कार्ड सुविधा होने के बाद भी नकद लेकर इलाज किया जाता है। ज्ञात हो की आज़ाद हिन्द Times लगातार अपने खबरों के माध्यम से आयुष्मान कार्ड की सुविधा नहीं मिलने का मुद्दा उठाता रहा है।आरोग्यम का आयुष्मान योजना का रजिस्ट्रेशन समाप्त करने के बाद अब गायत्री हॉस्पिटल पर इस तरह की कार्रवाई होने की उम्मीद है।
दुर्ग जिले के नर्सिंग होम एक्ट के नोडल अधिकारी डॉ. अनिल शुक्ला अपनी टीम के साथ रात में आधा दर्जन से अधिक हॉस्पिटल में छापेमारी कर वहां का निरीक्षण किया।इस दौरान उन्होंने गायत्री हॉस्पिटल, रेनबो हॉस्पिटल, भिलाई नगर्सिंग होम सहित कई अस्पतालों का औचक निरीक्षण किया। गायत्री हॉस्पिटल और रेनबो हॉस्पिटल में कई कमियां मिलीं। इसको लेकर उन्होंने नोटिस जारी किया है और सभी से दो दिन के भीतर जवाब मांगा है।
- गायत्री हॉस्पिटल में को जारी किए गए नोटिस
- निरीक्षण के दौरान गायत्री हॉस्पिटल प्रियदर्शिनी परिसर में भारी अनियमितताएं पाई गईं। निरीक्षण के दौरान पाया गया कि वहां एक भी MBBS डॉक्टर नहीं था, जबकि उस समय IPD 13 मरीज उपचार के लिए बैठे थे।
- अस्पताल में जो मरीज भर्ती थे उनका उपचार इंटर्नशिप MBBS डॉक्टर से कराया जा रहा था। जो चिकित्सक वहां मिला वो राजीव लोचन कॉलेज में इंटर्नशिप कर रहा है और उसे MBBS डॉक्टर बताकर रखा गया है।
- इसके साथ ही यहां भी आरोग्यम और हाईटेक की तरह आयुष्मान से इलाज वारे मरीज से अतरिक्त नगद राशि जमा कराई गई थी। यहां पहले भी शिकायत मिली थी कि प्रबंधन आयुष्मान से इलाज नहीं कर रहा है।
- इसके बाद नोटिस का संतोष जनक जवाब भी नहीं दिया गया। संचालक से पूछा गया है कि क्यों ना इस हॉस्पिटल की आयुष्मान योजना की मान्यता को समाप्त करने की कार्रवाई की जाए।
- गायत्री हॉस्पिटल तीन मंजिला इमारत में संचालित है। इसके बाद भी यहां नर्सिंग होम एक्ट के नियम के तहत लिफ्ट नहीं लगाई गई है। जांच के दौरान दूसरी मंजिल में 7 मरीज भर्ती मिले। वहीं पूरे अस्पताल परिसर में गंदगी पसरी देखी गई। साफ सफाई ना होने से यहां मरीजों के जीवन से खिलवाड़ किया जा रहा है।
आरोग्यं हॉस्पिटल में आयुष्मान कार्ड सुविधा बंद
जानकारी के अनुसार जिला के कलेक्टर रिचा प्रकाश चौधरी के द्वारा दुर्ग के आरोग्यं हॉस्पिटल में लगातार मिल रही शिकायतें के चलते आयुष्मान कार्ड से किए जा रहे इलाज की सेवाओं को बंद करने के लिए राज्य प्रशासन को पत्र भेजा गया था। पिछले कई महीनो से भिलाई नेहरू नगर में बायपास रोड में संचालित होने वाले आरोग्यं अस्पताल की कई शिकायतें जिला प्रशासन के पास लगातार पहुंच रही थी। जिसको संज्ञान में लेने के बाद दुर्ग जिला नर्सिंग होम एक्ट नोडल अधिकारी अनिल शुक्ला ने अस्पताल का कई बार मुआयना किया और जितनी भी शिकायत थी सभी को सही पाया इसके बाद यह कार्रवाई की गई है।
आपको बता दें कि पूरा मामला बीते माह 5 अप्रैल से शुरू हुआ था जहां एक 13 साल की किशोरी की मौत जहर खाने के बाद 10 दिन के इलाज उपरांत आरोग्यंम अस्पताल में हो गई थी, जो की राजनांदगांव के निवासी थी। जिसकी जानकारी अस्पताल प्रबंधन द्वारा सीएमएचओ कार्यालय को पत्र प्रेषित ना करने के साथ ही आयुष्मान कार्ड के नाम पर भारी फीस वसूली की शिकायतें लगातार होने के बाद यह पूरी कार्रवाई की गई है। वही इस मामले में दुर्ग जिला नर्सिंग होम एक्ट नोडल अधिकारी डॉक्टर अनिल शुक्ला ने अपनी जानकारी दी।