व्यवसायियों को माल परिवहन पर ई-वे बिल जनरेट करना होगा आवश्यक
दुर्ग. वाणिज्यिक कर जीएसटी विभाग दुर्ग संभाग द्वारा विभिन्न व्यापारी संगठनों, दुर्ग चेम्बर ऑफ कॉमर्स की बैठक लेकर जीएसटी से संबंधित भ्रांतियों तथा ई-वे बिल जारी करने से दी गई छूट को समाप्त करने वाली अधिसूचना 24 मई 2024 के संबंध में महत्वपूर्ण जानकारियां दी गई। दुर्ग संभाग की संयुक्त आयुक्त श्रीमती भावना अली, उपायुक्त राज्य कर श्री रामनरेश चौहान तथा सहायक आयुक्त राज्य कर श्री जीतेश कुमार द्वारा व्यापारी वर्गों द्वारा पूछे गये प्रश्नों का समाधान किया गया।
विभाग द्वारा व्यापारी वर्गों को जानकारी दी गई कि वाणिज्यिक कर विभाग के मुताबिक राज्य में व्यवसायियों के लिये अब 50 हजार रूपये मूल्य से अधिक के माल का परिवहन करने पर ई-वे बिल जनरेट करना आवश्यक होगा। पूर्व में राज्य के अन्दर केवल 15 वस्तुओं को छोड़कर बाकि वस्तुओं में ई-वे बिल छूट दी गई थी, जबकि दो-तीन राज्यों को छोड़कर भारत के सभी राज्यों में ई-वे बिल का नियम पहले से ही लागू है। छूट को समाप्त किये जाने का सबसे अधिक लाभ उन व्यवसायियों को होगा जो ईमानदारी से टैक्स जमा करते हैं, लेकिन सर्क्युलर ट्रेडिंग या बोगस बिल जारी करने वालों के कारण उन्हें आईटीसी का लाभ नहीं मिल पाता है। ई-वे बिल के प्रावधान लागू होने से सर्क्युलर ट्रेडिंग, बोगस बिल व टैक्स चोरी की प्रवृत्तियों पर अंकुश लगेगा। विभाग द्वारा सुपेला रेडीमेड कपड़ा संघ, दुर्ग चेम्बर ऑफ कॉमर्स पुलगांव कपड़ा व्यापारी संघों के साथ बैठक की गई।