मादक पदार्थों से संबंधित प्रकरणों पर पुलिस अधिकारियों की रेंज स्तरीय कार्यशाला, कानूनी प्रक्रिया, जांच की तकनीकी और आर्थिक पहलुओं की गई गहन चर्चा

दुर्ग एवं राजनांदगांव रेंज के 150 से अधिक पुलिस अधिकारी एवं विवेचक हुए शामिल

मादक पदार्थों से संबंधित प्रकरणों पर पुलिस अधिकारियों की रेंज स्तरीय कार्यशाला, कानूनी प्रक्रिया, जांच की तकनीकी और आर्थिक पहलुओं की गई गहन चर्चा

भिलाई। 19 मार्च को महात्मा गांधी कला मंदिर, सिविक सेंटर में दुर्ग एवं राजनांदगांव रेंज के पुलिस अधिकारियों और विवेचकों के लिए मादक पदार्थों से संबंधित प्रकरणों की प्रभावी विवेचना पर एक दिवसीय रेंज स्तरीय कार्यशाला का आयोजन किया गया। इस कार्यशाला में 150 से अधिक विवेचक एवं अधिकारी सम्मिलित हुए। कार्यशाला में पुलिस महानिरीक्षक ए. एन.टी.एफ. अजय यादव, पुलिस महानिरीक्षक दुर्ग रेंज  रामगोपाल गर्ग, पुलिस महानिरीक्षक राजनांदगांव रेंज दीपक झा तथा जिला एवं सत्र न्यायाधीश दुर्ग श्रीमती प्रज्ञा पचौरी ने अपनी महत्वपूर्ण उपस्थिति दर्ज कराई।

कार्यशाला में जिला एवं सत्र न्यायाधीश दुर्ग श्रीमती प्रज्ञा पचौरी ने जब्ती प्रक्रिया, कानूनी औपचारिकताएँ, विवेचना में देरी के कारण और कानूनी पहलुओं के संबंध में महत्वपूर्ण जानकारी दी। पुलिस महानिरीक्षक दुर्ग रेंज रामगोपाल गर्ग ने एंड टू एंड इन्वेस्टिगेशन, फाइनेंशियल इन्वेस्टिगेशन, सर्च, सीज एवं सैंपलिंग से जुड़ी महत्वपूर्ण बातें साझा कीं और निर्देश दिया कि इस कार्यशाला में प्राप्त ज्ञान को अन्य विवेचकों तक भी पहुँचाया जाए। पुलिस महानिरीक्षक राजनांदगांव रेंज दीपक झा ने मादक पदार्थों के सप्लाई नेटवर्क, फाइनेंशियल इन्वेस्टिगेशन और प्रभावी जांच की रणनीतियों पर चर्चा की। पुलिस अधीक्षक दुर्ग जितेन्द्र शुक्ला ने एनडीपीएस एक्ट के कानूनी प्रावधानों को विस्तार से समझाया और बताया कि यदि इस एक्ट का सही तरीके से उपयोग किया जाए, तो अपराधियों की संपत्ति को जब्त कर नीलाम किया जा सकता है। साथ ही उन्होंने विवेचकों को विशेष सतर्कता बरतने के निर्देश दिए। कार्यशाला के प्रथम तकनीकी सत्र में अधीक्षक एनसीबी रायपुर अनिल कुमार ने मादक पदार्थों की सर्च, सीज एवं सैंपलिंग प्रक्रिया की बारीकियों पर विस्तृत जानकारी दी। द्वितीय सत्र में असिस्टेंट डायरेक्टर एनसीबी रायपुर श्री रविशंकर जोशी ने फाइनेंशियल इन्वेस्टिगेशन के आधुनिक तरीकों और मनी ट्रेल की पहचान के बारे में जानकारी दी। तृतीय सत्र में  उप संचालक अभियोजन कबीरधाम कृष्ण कुमार चतुर्वेदी ने मादक पदार्थों से संबंधित मामलों की विवेचना में कानूनी ढांचे के बारे में चर्चा की और विवेचकों को कानून सम्मत विवेचना करने के टिप्स दिए।

यह कार्यशाला मादक पदार्थों की तस्करी एवं उससे जुड़े अपराधों की प्रभावी विवेचना के लिए पुलिस अधिकारियों एवं विवेचकों को प्रशिक्षित करने के उद्देश्य से आयोजित की गई। इस दौरान कानूनी प्रक्रिया, जांच की तकनीकी और आर्थिक पहलुओं की बारीकियों पर गहन चर्चा की गई, जिससे विवेचकों को इन मामलों की गहन जांच करने में सहायता मिलेगी। अंत में सभी विवेचकों के प्रश्नों के उत्तर और उनके शंका का समाधान भी किया गया। समापन समारोह में वरिष्ठ अधिकारियों एवं विशेषज्ञों  का सम्मान मोमेंटो देकर किया गया, साथ ही कार्यशाला में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले प्रतिभागियों को भी विशेष रूप से सराहा गया। उपस्थित अधिकारियों एवं विवेचकों ने इस कार्यशाला को ज्ञानवर्धक एवं व्यावहारिक दृष्टि से अत्यंत लाभकारी बताया। कार्यशाला में  पुलिस अधीक्षक दुर्ग श्री जितेन्द्र शुक्ला, पुलिस अधीक्षक बालोद श्री एस आर भगत सहित दुर्ग, बालोद, बेमेतरा, राजनांदगांव, कबीरधाम, मानपुर मोहला अंबागढ़ चौकी, खैरागढ़, छुई खदान एवं गंडई के समस्त राजपत्रित अधिकारी, थाना प्रभारी एवं 150 से अधिक विवेचक शामिल हुए। इस कार्यशाला में मंच का संचालन अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सुखनंदन राठौर के द्वारा एवं आभार प्रदर्शन अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अभिषेक झा के द्वारा किया गया।