विधायक ललित चन्द्राकर ने शिक्षक-शिक्षिकाओं का किया सम्मान

उल्लास नवभारत साक्षर केंद्र एवं शिक्षक सम्मान समारोह कार्यक्रम में शामिल हुए दुर्ग ग्रामीण विधायक व राज्य ग्रामीण एवं अन्य पिछड़ा वर्ग क्षेत्र विकास प्राधिकरण उपाध्यक्ष ललित चंद्राकर

विधायक ललित चन्द्राकर ने शिक्षक-शिक्षिकाओं का किया सम्मान

दुर्ग। दुर्ग ग्रामीण विधानसभा अंतर्गत ग्राम निकुम में उल्लास नवभारत साक्षरता केंद्र का उद्घाटन एवं शिक्षक सम्मान समारोह का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि दुर्ग ग्रामीण विधायक व राज्य ग्रामीण एवं अन्य पिछड़ा वर्ग क्षेत्र विकास प्राधिकरण उपाध्यक्ष ललित चंद्राकर थे। कार्यक्रम का शुभारंभ मां ज्ञानदायिनी सरस्वती के तैल चित्र पर पूजा अर्चना के साथ किया गया। उल्लास नव भारत साक्षर केंद्र का उद्घाटन फीता काटकर इस महत्वपूर्ण पहल का शुभारंभ किया गया।  साथ ही ग्राम पंचायत के तत्वावधान में आयोजित शिक्षक सम्मान समारोह शामिल होकर शिक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य करने वाले ग्राम निकुम के स्कूल व कॉलेज में पढ़ाने वाले वाले सभी शिक्षक शिक्षिकाओं का शाल श्रीफल व प्रशस्ति पत्र देकर सम्मान किया गया।  

दुर्ग ग्रामीण विधायक व राज्य ग्रामीण एवं पिछड़ा वर्ग क्षेत्र विकास प्राधिकरण उपाध्यक्ष ललित चंद्राकर ने कहा उल्लास नवभारत साक्षरता केंद्र का शुभारंभ आज किया गया निश्चित रूप से इसके शुभारंभ होने से क्षेत्र की जनता को लाभ मिलेगा और साक्षरता की ओर एक कदम आगे बढ़ेगा। उन्होंने कहा कि शिक्षा और साक्षरता के इस नव प्रयास से ग्रामीण क्षेत्र में ज्ञान का दीप जलाने का यह सराहनीय कदम है। उल्लास नवभारत कार्यक्रम का उद्देश्य 15 वर्ष या उससे अधिक आयु वाले उन सभी के लिए पढऩे लिखने के अवसर उपलब्ध कराना है, जो किन्हीं कारणें से साक्षरता और संख्या ज्ञान अर्जित नहीं कर पाए। इस संदर्भ में राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 की अनुशंसाओं के क्रियान्वयन के लिए 01 अप्रैल 2022 से भारत सरकार द्वारा उल्लास नवभारत साक्षरता कार्यक्रम जिसका लोकप्रिय नाम उल्लास है प्रारंभ किया गया है। जिसमें प्रौढ़ शिक्षा के सभी पक्ष शामिल हैं। इस योजना का उद्देश्य बुनियादी साक्षरता और संख्या ज्ञान, महत्वपूर्ण जीवन कौशल, व्यावसायिक कौशल, बुनियादी शिक्षा और सतत शिक्षा का विकास है। श्री चंद्राकर ने कहा समाज में शिक्षा के समान ही शिक्षक का भी स्थान महत्वपूर्ण होता है शिक्षा का कार्य शिक्षक के अभाव में संपन्न नहीं हो सकता। पुस्तकें सूचनाओं और संदेश दे सकती हैं किन्तु संदर्भों की समायोजित तार्किक व्याख्या शिक्षक ही कर सकती है। भावी पीढ़ी का निर्माता निर्देशक होने के कारण अन्य समाजसेवियों की तुलना में शिक्षक विशिष्ट है।

इस अवसर पर प्रमुख  रूप से सरपंच मुक्ति सुधाकर, अंजोरा मंडल अध्यक्ष गिरेश साहू, महामंत्री पुराण देशमुख, युवा मोर्चा अध्यक्ष लीलेश्वर देशमुख, वरिष्ठ भाजपा कार्यकर्ता भैया लाल साहू, प्राचार्य शासकीय महाविद्यालय डी.के. शैलेंद्र संकुल  प्राचार्य ए .के. पाण्डे , संकुल समन्वयक संजय चंद्राकर, युवराज बेलचंदन प्रधान पाठक, पूर्णिमा चंद्राकर प्रधान पाठक, केशव कोर्राम, माधव देशमुख, चिमन देशमुख,पंचराम देशमुख आदि मौजूद थे।