अवैध वसूली के नाम पर उत्पात मचाने वाले दो पुलिसकर्मियों ने ग्रामीणों ने बंधक बनाकर जमकर कुटा
फोर्स ने 3 घंटे की मशक्कत के बाद बंधकों को छुड़ाया
मेरठ। दो दरोगाओं पर अवैध वसूली और छेड़छाड़ का आरोप लगाते हुए ग्रामीणों ने बंधक बनाकर पिटाई कर दी। भावनपुर थाने की फोर्स के साथ गांव पहुंचीं और तीन घंटे की मशक्कत के बाद ग्रामीणों को समझाकर दोनों को बंधनमुक्त कराया। मेडिकल कराने से पहले दोनों दरोगा थाने से फरार हो गए। दोनों ने अपने मोबाइल भी बंद कर लिए।एसएसपी डॉ. विपिन ताडा का कहना है कि मामले की जांच सीओ सदर देहात को सौंपी है, जो भी तथ्य सामने आएंगे, उनके आधार पर कार्रवाई की जाएगी।
जानकारी के मुताबिक परीक्षितगढ़ थाने में तैनात दरोगा सतेंद्र और प्रशिक्षु शिवम पर आरोप है कि ये गांव गोविंदपुरी में दीपावली पर पटाखों की बिक्री करा रहे थे। इसके लिए दुकानदारों से अवैध वसूली कर रहे थे। शनिवार शाम भी सतेंद्र अपने साथी दरोगा शिवम के साथ रात्रि में गांव गोविंदपुरी पहुंचे और अवैध वसूली करने लगे। आरोप है कि दोनों ने शराब पी रखी थी। वसूली का विरोध करने पर बुजुर्ग महिला को थप्पड़ जड़ दिया। इसका गांव के ही हरेंद्र ने विरोध किया तो उसके साथ मारपीट कर दी।
इसके बाद पिंटू के घर में घुसकर पटाखे बेचने के नाम पर रकम की मांग की। उसके घर में जमकर उत्पात मचाया। इस दौरान ग्रामीण मकान के बाहर एकत्र हो गए और विरोध करने लगे। आरोप है कि नशे में धुत दरोगा ने ग्रामीणों के साथ अभद्रता करते हुए गाली-गलौज की। उन्हें जेल भेजने की धमकी दे डाली। इससे ग्रामीण उग्र हो गए और दोनों दरोगाओं को बंधक बना लिया। दोनों के साथ धक्का-मुक्की करते हुए मारपीट कर दी।
दरोगाओं को बंधक बनाने की सूचना से पुलिस-प्रशासन में हड़कंप मच गया। सीओ सदर देहात आनन फानन में परीक्षितगढ़, किठौर, मवाना, भावनपुर आदि थाने से फोर्स लेकर मौके पर पहुंचीं और ग्रामीणों को समझाने का प्रयास किया। ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि दरोगा सतेंद्र कई दिनों से दुकानदारों को परेशान कर रहा था। आए दिन किसी न किसी को डरा-धमकाकर अवैध वसूली करता था। विरोध करने पर जेल भेजने की धमकी देता था। ग्रामीणों ने दोनों दरोगाओं को निलंबित किए जाने और रिपोर्ट दर्ज कराने की मांग की। सीओ ने दोनों आरोपी दरोगाओं के खिलाफ कार्रवाई का आश्वासन दिया। करीब तीन घंटे बाद ग्रामीणों ने दोनों दरोगाओं को छोड़ा।
दरोगा सतेंद्र पूर्व में किठौर थाने में तैनात था। आरोप है कि यहां भी वह अवैध वसूली के लिए चर्चित था। क्षेत्र के गांव राधना, महलवाला, कायस्थ बड्ढा के ग्रामीणों ने उसकी अवैध वसूली की शिकायत उच्चाधिकारियों से की थी। जिस पर तत्कालीन एसएसपी रोहित सिंह सजवाण ने 27 अगस्त 2023 को थाने से हटा दिया था। इसके बाद परीक्षितगढ़ थाने में तैनाती हुई, लेकिन दरोगा अपनी हरकतों से बाज नहीं आया। यहां आते ही क्षेत्र में अवैध वसूली शुरू कर दी।