हाऊसिंग बोर्ड कालिबाड़ी में मां दुर्गा विराजित, धूप व बारिश से बचने की गई उत्तम व्यवस्था

हाऊसिंग बोर्ड कालिबाड़ी में मां दुर्गा विराजित, धूप व बारिश से बचने की गई उत्तम व्यवस्था

भिलाई। हाऊसिंग बोर्ड कालिबाड़ी में 54वें वर्ष दुर्गा पूजा का आयोजन हर्षोल्लास के साथ शुरू हो गया है। 28 सितंबर से 2 अक्टूबर 2025 तक चलने वाले इस आयोजन में भक्तों की भीड़ को देखते हुए उनके धूप व बारिश से बचने चारों और बड़े-बड़े कूलर सहित डोम की व्यसथा की गई है।  साथ ही बंगाली कल्चरल प्रोग्राम में शामिल होने बड़ी संख्या में लोग पहुंच रहे है। दोपहर को भोग भांडारे का वितरण भी किया गया।

कालिबाड़ी दुर्गा पूजा समिति की अध्यक्ष डॉ. दीप चटर्जी, कालिबाड़ी सेवा एवं शिक्षा समिति की अध्यक्ष काजल चक्रवर्ती, महासचिव विद्युत चौधरी एवं महासचिव अनुप घोष ने कहा कि यह पर्व सामूहिक श्रद्धा और सांस्कृतिक समृद्धि का प्रतीक है। उन्होंने सभी से आग्रह किया है कि वे इस पावन अवसर पर पूजा में भाग लेकर माँ दुर्गा की कृपा प्राप्त करें। यह आयोजन न केवल धार्मिक आस्था को प्रगाढ़ करता है, बल्कि सामाजिक एकता और सामुदायिक सौहार्द को भी बढ़ावा देता है। भक्तों के लिए यह पर्व आध्यात्मिक ऊर्जा और उत्साह का स्रोत है। समिति का यह प्रयास है कि हर वर्ष की भांति इस वर्ष भी यह आयोजन भव्य एवं सफल हो। श्रद्धालु इस आयोजन में बढ़-चढ़कर हिस्सा लें और माँ दुर्गा की आराधना करें।

सांस्कृतिक कार्यक्रमों का भव्य आयोजन

हाऊसिंग बोर्ड कालिबाड़ी दुर्गा पूजा 2025 के तहत सांस्कृतिक कार्यक्रमों का भव्य आयोजन किया जा रहा है। यह कार्यक्रम प्रतिदिन रात 9 बजे से शुरू होंगे, जिनमें संगीत, नृत्य और गायकी की प्रस्तुतियां शामिल हैं। 28 सितंबर रविवार के दिन नृत्य एवं संगीत पर आधारित रंगारंग कार्यक्रम आयोजित की गई, जिसका निर्देशन संध्या नंदी और रामचंद्र घोष ने की। 29 सितंबर 2025 को सोमवार को युनान बैंड द्वारा अंकित तिवारी एवं शारदा नाथ की प्रस्तुति होगी, जो सुपर सिंगर कोलकाता के कलाकार हैं। 30 सितंबर को मंगलवार को महा अष्टमी के दिन सुधता कर, सोमेन् गांगुली और अरिजीत मंडल अपनी मधुर प्रस्तुतियों से दर्शकों का मन मोहेंगे। 1 अक्टूबर 2025 को बुधवार को महा नवमी के अवसर पर जॉय भट्टाचार्य, पौलमी चटर्जी और पार्थ बनर्जी संगीत के रंग बिखेरेंगे। इन सांस्कृतिक कार्यक्रमों के साथ-साथ महा सप्तमी, महा अष्टमी और महा नवमी के दिन भोग एवं प्रसाद वितरण का भी आयोजन प्रतिदिन दोपहर 1 बजे से 3 बजे तक किया जाएगा। कालिबाड़ी दुर्गा पूजा समिति ने इस आयोजन के माध्यम से स्थानीय जनता को न केवल धार्मिक उत्सव में भाग लेने का अवसर दिया है, बल्कि सांस्कृतिक विरासत को भी सजीव बनाए रखने का प्रयास किया है।